माइग्रेन के दर्द के दौरान मरीजों को अलग अलग तरह की परेशानियों का सामना का करना पड़ता है। तेज़ रोशनी से मिग्रने के मरीजों को दिक्कत होती है। माइग्रेन के दर्द के कारण आपको तेज़ दर्द, आधे सर में दर्द, उलटी और मतली, घबराहट होना आदि दिक्कते होती है। कुछ रिपोर्ट्स के मुताबिक पाया गया है की जो महिलाऐं माइग्रेन से पीड़ित है उनको हार्ट की परेशानियां अधिक होती है जैसे की हार्ट अटैक की अधिक सम्भावना, ब्रेन स्ट्रोक, और छाती में दर्द होना। महिलाओं में माइग्रेन होने के कुछ अहम् कारण होते है।
महिलाओं में माइग्रेन का कारण क्या है? | What Causes Migraine in Women?
महिलाओं में माइग्रेन के कई कारण हो सकते है जैसे अनियमित दिन चर्या, ख़राब खानपान, धूम्रपान और शराब का सेवन, काम नींद लेना, अधिक चिंता करना, हार्मोनल बदलाव, एक्सरसाइज और योग भी एक कारण हो सकता है।
महिलाओं में मिग्रने होने का सबसे बड़ा कारण शरीर में एस्ट्रोजन की कमी मानी गयी है।
- पीरियड्स, माइग्रेन के लक्षणों को बढ़ा सकता है – डॉक्टर के अनुसार, पीरियड्स के दौरान एक महिला के शरीर में कई हार्मोनल परिवर्तन होते हैं, जिसके परिणामस्वरूप माइग्रेन हो सकता है। महिलाओं के लिए, सिरदर्द उनके पीरियड्स शुरू होने के दो दिन पहले और तीन दिन बाद भी जारी रह सकता है। महिलाओं को इस दौरान क्रोध, थकावट, भूख न लगना, पीठ और कमर में तकलीफ और अन्य समस्याओं का अनुभव होता है।
- मेनोपॉज होना – अध्ययनों के अनुसार, मेनोपॉज से गुजरने वाली लगभग दो-तिहाई महिलाएं माइग्रेन से पीड़ित होती हैं। मीनोपॉज के बाद ज्यादातर महिलाओं के एस्ट्रोजन का स्तर अनियंत्रित हो जाता है, जिससे माइग्रेन हो सकता है।
- गर्भावस्था के दौरान माइग्रेन एक चिंता का विषय हो सकता है, हालांकि ज्यादातर महिलाएं रिपोर्ट करती हैं कि इस दौरान उनके माइग्रेन के लक्षण कम या गायब हो जाते हैं। यदि गर्भावस्था के दौरान माइग्रेन दूर हो जाता है, लेकिन बच्चे के जन्म के बाद माइग्रेन की वापसी हो सकती है।
- घर की जिम्मेदारियों के चलते महिलाएं अक्सर नाश्ता करना भूल जाती हैं। ऐसी महिलाओं में माइग्रेन के लक्षण अधिक देखने को मिलते हैं। सुबह का नाश्ता कभी नहीं छोड़ना चाहिए। यह आपको शारीरिक रूप से कमजोर बनाने की क्षमता रखता है।
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डॉ नवीन तिवारी
डायरेक्टर & कंसल्टिंग न्यूरोलोजिस्ट
एशियन न्यूरो सेंटर